शिक्षामित्र क्रान्तिकारी महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष पूर्ण सिंह राणा जो एक अक्टूबर से आमरण अनशन पर बैठे हैं तथा उनका स्वास्थ्य लगातार गिर रहा है। बताया जा रहा है कि इस बीच उनका 6 किलो से अधिक वजन कम हो चुका है।
उनके स्वास्थ्य में लगातार गिरावट आ रही है। उन्होंने कहा कि जब तक ठोस कार्यवाही नहीं की जाती उनका अनशन जारी रहेगा। उन्होंने धरना स्थल पर कहा कि सरकार का कोई भी नुमाइन्दा उनसे वार्ता के लिए नहीं पहुॅचा जिससे संगठन के सब्र का बांध टूटता जा रहा है।
बैठक में वक्ताओं ने कहा कि यह सरकार शान्तिपूर्ण तरीके से मानने वाली नहीं है। सरकार गांधी जी द्वारा गये रास्तों पर चलने वाले को पसन्द नहीं करती इसीलिए अब आर-पार की लडाई के लिए सभी तैयार हैं।
उन्होंने कहा कि लगातार संगठन अपनी एकसूत्रीय मांग के लिए समर्थन मांग रहा है। उन्होंने फिर कहा कि पहाडी बेटा हूॅं। मुश्किलों से डर नहीं सकता, मौत से पहले मर नहीं सकता। शासन-प्रशासन आन्दोलनकारियों को कुचलने के लिए विभिन्न हथकंडे अपना रहा है परन्तु आन्दोलनकारी दमनकारी नीतियों से और मजबूत होता है।
उन्होंने कहा कि आन्दोलनकारी सरकार की हर दमनकारी नीति का डटकर मुकाबला करेंगे। इसी के चलते सोमवार को डीएलएड प्रशिक्षित शिक्षामित्रों ने सचिवालयकूच किया लेकिन पुलिस कर्मियों ने कुछ ही दूरी उन्हे गिरफ्तार कर लिया। इस दौरान उनकी पुलिस के साथ नोक-झोंक भी हुई।
पुलिस प्रदर्शनकारियों को सु़द्धोवाला जेल ले गई जहां से उन्हें छोड दिया गया। प्रदर्शन करने वालों में अजयपाल, संध्या शर्मा,चित्रा राणा, मातवर सिंह राणा, बालादत्त शर्मा, हरि सिंह नेगी, सुनील मिश्रा, राजेश भट्ट, सुनिल बहुगुणा, कर्ण सिंह , प्रताप सिंह, अरूण जोशी, शकुन्तला राठोर, उषा कोठियाल, आदि सभी मौजूद रहे। ')}