उत्तराखंड के देहरादून निवासी आरटीआई कार्यकर्ता अजय कुमार की पहल से अब खाद्य पदार्थों के पैकेटों में आने वाले खिलौनों को अनसेफ फूड माना जाएगा। उनकी पहल के बाद पीएमओ के निर्देश पर एफएसएसएआई ने 22 जुलाई को सभी प्रदेशों के खाद्य आयुक्तों को आदेश जारी किया है। जिसमें कहा गया है कि खाने-पीने की चीजों में बच्चों को लुभाने के लिए प्लास्टिक खिलौने डाले जाने वाले खाद्य पदार्थों को अनसेफ फूड की कैटेगरी माना जाए।
भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (एफएसएसएआई) ने ऐसे उत्पादों को असुरक्षित खाद्य की श्रेणी में शामिल कर ऐसा करने वाली कंपनियों और व्यापारियों को फूड सेफ्टी कानून के तहत उम्रकैद की सजा और दस लाख रुपये जुर्माना तक हो सकता है।
आपको बता दें कि देहरादून निवासी अजय कुमार ने खुद पीएमओ जाकर इस पर नियम बनाने की मांग की थी, जिसके बाद पीएमओ के निर्देश पर 22 जुलाई को देश भर के आयुक्तों को प्लास्टिक खिलौने डाले जाने वाले खाद्य पदार्थों को अनसेफ फूड की कैटेगरी में मानकर कार्रवाई करने के आदेश दिए है । आरटीआई कार्यकर्ता की इस सफल पहल के कारगर होने पर देश-भर से उन्हें बधाइयाँ मिल रही हैं और लोग उन्हें धन्यबाद भी दे रहे हैं ।
कार्यवाही पर सजा का प्रावधान-
- बेचते पकड़े जाने पर छह माह तक की जेल और एक लाख तक का जुर्माना।
- हल्का नुकसान पहुंचने पर एक साल जेल, तीन लाख तक जुर्माना
- गंभीर नुकसान होने पर छह साल की जेल, पांच लाख तक जुर्माना
- मौत हो जाने पर उम्रकैद और दस लाख जुर्माना।