देहरादून: गुरूवार को सचिवालय में मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल की बैठक हुई, बैठक में 32 प्रस्तावों पर चर्चा हुई इस दौरान कैबिनेट में 30 प्रस्तावों पर मुहर लग गई। सरकार ने कुछ प्रमुख फैसलों में व्यावसायिक वाहनों के टैक्स में छूट तीन माह तक बढ़ाया जाना, एक करोड़ के निवेश वाले उद्यम भी एमएसएमई नीति के दायरे में लाना तथा लोक निर्माण विभाग में कनिष्ठ लिपिक के पद पर तैनात सविंदा कर्मियों का वेतनमान 15000 से 24000 करने का निर्णय शामिल रहा।
कैबिनेट के अन्य प्रमुख फैसले-
- उत्तराखण्ड उत्तर प्रदेश विधान मण्डल, अधिकारियों के वेतन भत्ते, संशोधन विधेयक 2020 पुनः स्थापित करने के सम्बन्ध मे फैसला लिया गया।
- उत्तराखण्ड सूक्ष्म, लधु एवं मध्यम उघम नीति एवं क्रियान्वयन आदेश 2015 में संशोधन।
- मसूरी स्थित राधा भवन स्टेट की भूमि राज्य अतिथि ग्रह के लिए अधिकृत नहीं होगी। केदारनाथ मुख्य पैदल मार्ग के चौड़ीकरण, मन्दिर चौड़ीकरण के पुर्ननिर्माण आवंटित भूमि पर भूमिधरी का अधिकार।
- सार्वजनिक स्थल/सस्थान, परिसर में मास्क पहने जाने की अनिवार्यता के लिए अधिनियम लाया जाएगा।
- राज्य श्रम सुधारों के अन्तर्गत अध्यादेश विधान सभा के पटल पर विधेयक के रूप में रखा जायेगा।
- कुल 06 श्रम सुधार अध्यादेश को विधेयक के रूप में लाने का निर्णय।
- उत्तराखण्ड तकनीकी विश्वविधालय का नाम वीर माधो सिंह भण्डारी उत्तराखण्ड प्रौद्योगिकी विश्वविधायल किया जायेगा।
- पेयजल निगम सलाहकार प्रबन्ध निदेशक पद चयन भर्ती नियमावली।
- सस्कृति विभाग में महानिदेशक पद की स्वीकृति।
- नगर निकाय में पूर्व सैनिकों के जेसीयो रैंक से छोटे पद पर सैन्य विधवा को गृह कर से मुक्ति।
- शहरी विकास विभाग में ईओ पद पर सीधी भर्ती के लिए ग्रेड डाउन करके लेने का निर्णय। प्रमोशन के दृष्टिगत निर्णय।
- सिचाई विभाग के नहरो के निर्माण कार्य एवं बाढ सुरक्षा के लिए चार छोटे भागो में कार्य विभाजन पर छूट।
- कोविड़ प्रभाव के कारण परिवहन व्यवसायी को मोटर यान कर से भुगतान छूट की अवधि तीन माह के लिए बढाये जाने हेतु।
- माल और सेवा कर कठिनाईयों के निवारण हेतु विधान मण्डल में प्रस्ताव।
- वेतन भत्तों का इनकम टेक्स मंत्री अब खुद भरेंगे।
- अन्य राज्यों की तरह आगामी विधानसभा सत्र एक दिन का करने का फैसला।