देहरादून: नई कंपनी में समायोजित करने की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे 108 एंबुलेंस के पूर्व कर्मचारियों ने खून से मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को पत्र लिखा।
वहीं आपातकालीन सेवा 108 के पूर्व कर्मचारियों के आंदोलन को पूर्व मंत्री दिनेश धनै ने धरना स्थल परेड ग्राउंड पहुंचकर समर्थन भी दिया। एक मई से 108 एम्बुलेंस का संचालन कैम्प कम्पनी कर रही है। मार्च में जीवीके के 717 कर्मचारियों को नोटिस दे दिया गया था।
इसके बाद से कर्मचारियों को वेतन भी नहीं मिला है। इसके चलते तकरीबन 717 कर्मचारी गत 30 अप्रैल से परेड ग्राउंड के पास धरने पर बैठे हैं। कर्मचारी नई कंपनी में ज्वाइन कराने की मांग कर रहे हैं। इससे पहले कर्मचारी भीख मांगकर प्रदर्शन कर रहे हैं।
108 एवं खुशियों की सवारी कर्मचारी संघ का धरना आज छठे दिन भी जारी रहा। कर्मचारियों ने अपनी 2 सूत्रीय मांगों लोकेशन तथा वेतन भत्तों सहित दी जाने वाली सुविधाओं सहित समायोजित करने की मांग सरकार से की है।
रविवार को पूर्व कर्मचारियों ने धरना स्थल पर अपने खून से मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को पत्र लिखा। वहीं आपातकालीन सेवा 108 के पूर्व कर्मचारियों के आंदोलन को पूर्व मंत्री दिनेश धनै ने धरना स्थल परेड ग्राउंड पहुंचकर समर्थन भी दिया।
धरने पर प्रदेश अध्यक्ष नीरज शर्मा, विपिन जमलोकी, वीरेंद्र खन्ना, शैलेंद्र खन्ना, आसना, पूजा, दिवाकर भट्टð राजमोहन, रमेश डंगवाल, पूनम आदि धरना स्थल पर मौजूद थे।
उन्होंने यह भी चेतावनी दी कि यदि सरकार ने उनकी मांग ना मानी तो सड़कों पर उतरकर आंदोलन तेज किया जाएगा।
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