उत्तराखंड में सभी विकास खण्ड मुख्यालयों तक डबललेन और डेढ़ लेन सड़कों का जाल बिछाया जायेगा। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने हाल ही में घोषणा की है कि प्रदेश में विकास खण्ड स्तर तक बेहतर सड़क सुविधाओं के विकास एवं सड़क दुर्घटनाओं को नियंत्रित करने के लिये विकास खण्ड मुख्यालयों को डबल लेन सड़क से जोड़ा जायेगा।
बता दें उत्तराखंड के पहाड़ी जिलों में अधिकांश विकासखंड अभी भी सिंगल लेन रोड़ से जुड़ें हैं जिससे इन क्षेत्रों में अवागमन सुवधापूर्ण नहीं है और लोगों को आज भी दिक़्क़तों का सामना करना पड़ता है। इसी को देखते हुए, मुख्यमंत्री ने विकास खण्डों को जोड़ने वाली सड़कों के चौड़ीकरण कर सुदूरवर्ती क्षेत्रों तक डबल लेन सडक मार्ग बनाने का फैसला किया है।
अगर इस योजना पर वाकई तेजी से कार्य होता है तो यह आने वाले चुनावों में मौजूदा रावत सरकार के लिए मील का पत्थर साबित हो सकता है। उत्तराखंड बने 20 साल हो चुके हैं लेकिन आज भी प्रदेश के ब्लॉक मुख्यालयों तक डबल लेन सड़क तो दूर अच्छी सिंगल लेन सड़कें भी एक ख्वाब ही रह गया है। ऐसे में मुख्यमंत्री द्वारा ऐसी घोषणा उसकी दूरदर्शिता को दर्शाता है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सडकों का सुदृढ़ीकरण क्षेत्रीय विकास की राह भी प्रशस्त करती है। हम जल्द ही कम आबादी वाले विकास खण्डों को जोड़ने वाली सड़कों को डेढ़ लेन तथा अधिक आबादी वाले विकास खण्डों को डबल लेन सड़क से जोड़ेंगे। आने वाले समय में देश की राजधानी से राज्य को जोड़ने वाली सड़कों के और अधिक सुदृढ़ीकरण एवं चारधाम तथा भारतमाला सड़क परियोजनाओं से राज्य के सभी लोग बेहतर सड़कों से जुड़ जायेंगे। कर्णप्रयाग तक रेल पहुंचने से राज्य वासियों को तो सुविधा होगी है, चार धाम यात्रा के भी नये आयाम प्राप्त होंगे।