देहरादून-हल्द्वानी में हजारों लोगों को चपेट में लेने के बाद डेंगू और वायरल बुखार ने हरिद्वार में स्थिति बेकाबू कर दी है। राज्य में अब तक 6412 लोगों में डेंगू की पुष्टि हो चुकी है। लेकिन सरकार के आंकड़े हकीकत से मेल नहीं खा रहे, चिंता की बात ये है कि डेंगू ने अब भी कहर बरपाना जारी रखा हुआ है और सरकारी तंत्र इसे रोकने में नाकाम है।
स्वास्थ्य विभाग से प्राप्त जानकारी के अनुसार, देहरादून और नैनीताल में अभी भी डेंगू के नए मामले सामने आ रहे हैं। वहीं हरिद्वार जिले का कोई आंकड़ा सामने नहीं आ रहा। बस, 200-300 पर सिमटकर रह गया है। जबकि हकीकत यह है कि हरिद्वार में डेंगू के मरीजों से सरकारी और गैर सरकारी अस्पताल मरीजों से भरे पड़े हैं। यहां वायरल बुखार के साथ-साथ अज्ञात बुखार से भी लोगों की जान जा रही है।
हरिद्वार की भगवानपुर तहसील क्षेत्र के छापुर और सिकंदरपुर भैंसवाल गांव में बुखार से तीन और लोगों की मौत हो गई है। दोनों गांव में एक माह के अंदर अब तक 14 लोगों की मौत हो चुकी है। भगवानपुर के सामुदायिक चिकित्सा केंद्र प्रभारी डॉ. विक्रांत सिरोही ने बताया कि इस संबंध में कोई जानकारी नहीं मिली है। स्वास्थ्य विभाग की टीम लगातार गांव का दौरा कर रही है। इंडोर स्प्रे किया जा चुका है। डेंगू और वायरल के मरीजों से जिला अस्पताल के सभी बेड फुल हो गए हैं। यहां तक कि अस्पताल के प्राइवेट बेड भी खाली नहीं हैं।
रुद्रपुर में अचानक बड़ा डेंगू और बुखार का कहर-
उधम सिंह नगर में डेंगू के सरकारी आंकड़े 300 के पार हो गए। रुद्रपुर में स्थिति बेकाबू हो गई है। पिछले दो तीन दिनों में हालात और भी ज्यादा बिगड़ गए हैं। स्थानीय लोग सरकार को इसका जिम्मेदार बता रहे हैं वहीं सरकारी अस्पतालों का हाल देखकर लोगों का गुस्सा भी सातवें आसमान पर है। रुद्रपुर जिला अस्पताल जहां मरीजों की भीड़ देखकर आप स्थिति का अंदाजा लगा सकते हैं। मौसमी बीमारियों के चलते व डेंगू के डर से जिला अस्पताल में रोज 500 से 800 मरीज पहुंच रहे है। एक डाक्टर के भरोसे पूरा जिला अस्पताल चल रहा है बचे कुचे अवकाश पर है। सरकार आंकड़े भी ढंग से निकाल दे तो वो भी बहुत है, स्वास्थ्य विभाग गहरी नींद में है ऐसा लग रहा है।
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