देहरादून। उत्तराखंड ग्रामीण बैंक ऋण-जमा अनुपात बढ़ाने के प्रयासों में जुटा है। देहरादून के 44 ब्रांच का ऋण-जमा अनुपात अन्य बैंकों के मुकाबले बेहतर है, इसके बावजूद बैंक की रणनीति है कि वह उसे और बेहतर करे। इसे अंजाम तक पहुंचाने के लिए बैंक ने पुरानी कार खरीद पर भी ऋण देना तय किया है।
उत्तराखंड ग्रामीण बैंक के रीजनल मैनेजर पराशर दत्त जोशी ने प्रेस को जारी एक बयान में कहा है कि देहरादून जिले की 44 शाखाएं माह अगस्त 2021 से प्रत्येक महीने कम से कम एक के्रडिट कैंप का आयोजन करेगी। क्षेत्र विशेष की उचित आर्थिक गतिविधियों के लिए बैंक के पास ऋण योजनाएं उपलब्ध हैं। उन्होंने कहा कि बैंक के चेयरमैन राकेश तेजी और महाप्रबंधक विनय कुमार खत्री के दिशानिर्देशन में प्राथमिकता प्राप्त क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए सोलर पावर प्रोजेक्ट ऋण, आवास ऋण, शिक्षा ऋण, वाणिज्यिक वाहन ऋण, एसएमई ऋण, किसान के्रडिट कार्ड, कृषि एवं सहायक कृषि कार्यों हेतु ऋण स्वयं सहायता समूह, जेएलजी, सरकारी योजनाओं के अंतर्गत प्राप्त ऋण आवेदनों का तत्परता से निस्तारण किया जा रहा है। बाजार में वर्तमान मांग को देखते हुए बैंक ने पुरानी कार क्रय योजना भी लागू की है।
गौरतलब है कि देहरादून जिले में सभी बैंकों का औसत ऋण-जमा अनुपात 37 प्रतिशत के करीब है, जबकि उत्तराखंड ग्रामीण बैंक का देहरादून में ऋण-जमा अनुपात 48 प्रतिशत से अधिक है। इसी तरह बैंक की कुल 280 से अधिक शाखाओं में प्रदेश भर में ऋण-जमा अनुपात के मामले में उत्तराखंड ग्रामीण बैंक कहीं अधिक बेहतर स्थिति में है। इसे और बेहतर करने का प्रयास किया जा रहा है।