मुख्यमंत्री की दौड़ मे चर्चित चेहरा रहे बेदाग छवी के नेता प्रकाश पंत क्षेत्रिय समीकरण की वजह से ही मुख्यमंत्री की दौड़ से बाहर हो गये । बताया जा रहा है कि प्रकाश पंत का कुमांउ से होना ओर ब्राह्मण होने की वजह से मुख्यमंत्री नही बन पाये बीजेपी पर ऐसे जाति ओर क्षेत्रवाद के आरोप लगाऐ जाते हैं कि वह बाह्मणों को ही मुख्या बनाती है ओर क्योंकि पहले ही हरिश रावत जैसे दिगज मुख्यमंत्री भी कुमांऊ से ही तालुक रखते थे ओर सूत्रों के मुतावित पिछली रावत सरकार का गढ़वाल के प्रति सौतेला व्यवहार बीजेपी आलाकमान को सोचने पर विवश कर दिया।
जाति ओर क्षेत्रवाद का समीकरण बनाकर बीजेपी को ढैंचा बीच घोटाले से घिरे त्रिवेन्द्र सिहं रावत को मुख्यमंत्री घोषित करना पड़ा ।
इस तरह बीजेपी ने अपना संतुलन बनाया है कि ताकि दोनो क्षेत्रो का समान रूप से विकास हो ओर अजय भट्ट जो कि बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष्य है कुमांऊ से है ओर वो भी बाह्मण हैं ऐसे मे बीजेपी यह आरोप नहीं झेलना चाहती थी कि वह एक बाह्मणों की सरकार है ओर सिर्फ एक क्षेत्र से ही मुख्या चुने गयें है । बहरहाल यह तो राजनीति है दागी बागी सब यहां ही चलते हैं ।
रिपोर्ट – सचिन उनियाल
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