कोरोनोवायरस से निपटने के लिए स्विस हाइजीन कंपनी लिविंगार्ड द्वारा बनाया गया मास्क 99 फीसदी कोरोना को मारने में सक्षम है। यह मास्क री-यूजेबल और वाशेबल है और दुनिया में कई देशों में इस्तेमाल किया जा रहा है। यह मास्क बार-बार धोकर पहना जा सकता है। मास्क को प्योर कॉटन फैब्रिक से तैयार किया गया है। कंपनी का दावा है कि यह बैक्टीरिया और वायरस को सीधे तौर पर खत्म करने में सक्षम है। इसमें कोरोनोवायरस SARS-CoV-2 को 99.9% तक खत्म करने की क्षमता है। साथ ही यह फेस मास्क पर्यावरण के अनुकूल और टिकाऊ है।
स्विट्जरलैंड स्थित सस्टेनेबल सेल्फ-डिसइन्फेक्टिंग हाइजीन टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में पूरी दुनिया में अग्रणी कंपनी, लिविंगार्ड ने आज इस बात की घोषणा की है कि इसकी टेक्नोलॉजी कोविड-19 डेल्टा वेरिएंट को मारने में सक्षम साबित हुई है। बेहद मशहूर आईआरएसएचए संस्थान द्वारा किए गए परीक्षणों के नतीजे बताते हैं, कि लिविंगार्ड टेक्नोलॉजी से सुपरचार्ज किए गए मास्क की अंदरूनी एवं बाहरी परत इस वायरस के खिलाफ औसतन 99 प्रतिशत असरदार साबित हुई है, तथा एसएआरएस सीओवी-2 के डेल्टा वेरिएंट के खिलाफ परीक्षण में इस मास्क पर कोई जीवित वायरस प्राप्त नहीं हुआ है।
परीक्षण के नतीजे दुनिया के कई हिस्सों के लिए बेहद सकारात्मक ख़बर के रूप में सामने आए हैं, जो अभी भी इस वायरस के डेल्टा वेरिएंट के प्रकोप से जूझ रहे हैं। अब ऐसे सभी देश अपने नागरिकों की सेहत एवं सुरक्षा के लिए लिविंगार्ड फेसमास्क की क्षमताओं पर भरोसा करते हुए इसका इस्तेमाल कर पाएंगे।
आज घोषित किए गए आंकड़े बर्लिन की फ्री यूनिवर्सिटी तथा यूनिवर्सिटी ऑफ़ एरिज़ोना के शोधकर्ताओं द्वारा प्रस्तुत किए गए व्यापक प्रमाणों को और मजबूती प्रदान करते हैं, जिन्होंने यह साबित कर दिखाया था कि लिविंगार्ड टेक्नोलॉजी इन्फ्लूएंजा, कोरोनावायरस एसएआरएस सीओवी-2, ट्यूबरक्लोसिस एवं ई-कोलाई बैक्टीरिया, स्टेफिलोकोकी और साल्मोनेला सहित रोग पैदा करने वाले विभिन्न प्रकार के 99.9 प्रतिशत बैक्टीरिया एवं वायरस को मारने में सक्षम है।
बता दें कि लिविंगार्ड भारत के साथ-साथ जर्मनी, अमेरिका, सिंगापुर, जापान और दक्षिण अफ्रीका में अपने कारोबार का संचालन करता है। भारत में भी ई-कॉमर्स साइट पर बिक्री के लिए यह उपलब्ध है।
लिविंगार्ड के सीईओ, संजीव स्वामी ने कहा, “हमारी टेक्नोलॉजी डेल्टा वेरिएंट के खिलाफ असरदार साबित हुई है जो इस बात को प्रमाणित करता है कि लिविंगार्ड टेक्नोलॉजी भविष्य के लिए पूरी तरह सुरक्षित है। कोविड-19 महामारी के इस दौर में, हमारी टेक्नोलॉजी आने वाले दिनों में सस्टेनेबल सेल्फ-डिसइन्फेक्टिंग की सबसे पसंदीदा तकनीक के रूप में उभरकर सामने आएगी। वर्तमान में भी लोगों ने विभिन्न परिस्थितियों में मास्क का सहारा लेना जारी रखा है, और हमें उम्मीद है कि लिविंगार्ड मास्क लोगों का सबसे पसंदीदा, टिकाऊ, सेल्फ-डिसइन्फेक्टिंग फेसमास्क बन जाएगा।”