आल वेदर रोड प्रोजेक्ट को उच्चतम न्यायालय की हरी झंडी मिल गई है। सुप्रीम कोर्ट ने सुरक्षा कारणों से आल वेदर की चौड़ाई बढ़ाने को मंजूरी दे दी है। सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद अब ऑल वेदर राजमार्ग परियोजना में सड़क की चौड़ाई बढ़ेगी, साथ ही डबल लेन हाइवे बनाने का रास्ता साफ हो गया है। इसके साथ ही आल वेदर रोड से बनने वाले उत्तरकाशी से गंगोत्री के बीच 100 किलोमीटर लंबे मार्ग के चौड़ीकरण का रास्ता साफ हो गया है।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि, ‘अदालत न्यायिक समीक्षा में सेना के सुरक्षा संसाधनों को तय नहीं कर सकती। हाइवे के लिए सड़क की चौड़ाई बढ़ाने में रक्षा मंत्रालय की कोई दुर्भावना नहीं है। हाल के दिनों में सीमाओं पर सुरक्षा के लिए गंभीर चुनौतियां सामने आई हैं, यह अदालत सशस्त्र बलों की ढांचागत जरूरतों का दूसरा अनुमान नहीं लगा सकती है।’
करीब 900 किलोमीटर लंबी चारधाम सड़क परियोजना रणनीतिक रूप से काफी महत्वपूर्ण है, जिसकी लागत करीब 12 हजार करोड़ रुपये आने का अनुमान है। सुप्रीम कोर्ट ने आठ सितंबर, 2020 के आदेश में सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय को महत्वाकांक्षी चारधाम राजमार्ग परियोजना को लेकर जारी 2018 के परिपत्र में निर्धारित सड़क की चौड़ाई 5.5 मीटर का पालन करने को कहा गया था। लेकिन अब सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को सुरक्षा चिंताओं को देखते हुए चारधाम परियोजना के लिए सड़कों को डबल लेन चौड़ा करने की अनुमति दे दी है। जिसमें अब सड़क की चौड़ाई शोल्डर सहित 10 मीटर चौड़ी होगी।
बता दें कि केन्द्र ने राष्ट्रीय सुरक्षा के लिहाज से सड़क के चीन सीमा से जुड़े होने के कारण सेना और सामान ले जाने के लिए सड़क चौडी करने की इजाजत मांगी थी। इसपर कोर्ट ने कहा कि देश की सुरक्षा के आगे अदालत किसी दूसरे अनुमान पर विचार नहीं कर सकती। सुप्रीम कोर्ट ने सड़क चौडी करने मे पर्यावरण को ध्यान मे रखने और हाई पावर कमेटी की संस्तुतियो का पालन सुनिश्चित करने के लिए सेवानिवृत्त जज एके सीकरी की अध्यक्षता में ओवरसाइट कमेटी भी गठित की, जो कोर्ट को अपनी रिपोर्ट सौपेगी।
सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह ने भी ख़ुशी जताई है उन्होंने कहा कि यह परियोजना आध्यात्मिक और सामरिक दृष्टि से बेहद कारगर सिद्ध होगी। माननीय सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले से राज्य में प्रगति और विकास सुनिश्चित होगा।