इस दिसम्बर से मार्च तक पंजाब उत्तराखंड को उसका 900 मिलियन यूनिट बिजली वापस करेगा। पंजाब को यह बिजली गर्मियों के मौसम में विद्युत बैकिंग के तहत दी गई थी। पंजाब में गर्मियों की बिजली की भारी मांग होती है जबकि उत्तराखंड में बिजली का गर्मियों के समय में अच्छा उत्त्पादन हो जाता है।
बिजली की कमी तो उत्तराखंड में बिलकुल भी नहीं है। लेकिन शर्दियों के समय में उत्पादन में कमी आ जाने की वजह से बिजली की कमी आ जाती है। इस लिहाज से पंजाब से मिलने वाली बिजली इस मौसम को गुलजार करनी वाली है।
आपको बता दें कि गर्मियों में उत्तराखंड में प्रतिदिन बिजली का उत्पादन 19 से 20 मिलियन यूनिट होता है। जबकि शर्दियों में यह स्तर 10 मिलियन यूनिट से भी कम रहता है। गर्मियों में खर्च होनी वाली बिजली की लगभग आपूर्ति सफलतापूर्वक हो जाती है। लेकिन शर्दियों में बिजली की जादा खपत और कम उत्त्पादन के चलते परेशानी होती है।
इसलिए इस आपूर्ति को बरकरार रखने के लिए यह सौदा फायदे का रहता है। अब पंजाब 11 फ़ीसदी अतिरिक्त व्याज में रूप में देकर यह बिजली उत्तराखंड को लौटाएगा। इस से किसी भी तरह की बिजली संकट उत्पन नहीं होगा। ')}